HOT!Subscribe To Get Latest VideoClick Here

Ticker

6/recent/ticker-posts

कोई पूछे तेरा पहचान तो कह देना हम बिहार से है | Koi Puche Tera Pehchan To Kah Dena Hum Bihar Se Hai




थोड़ी घिसी-पट्टी थोड़ी नासमझ से
हम उस पवित्र संस्कार से
कोई पूछे तेरा पहचान तो 
कह देना हम बिहार से है। 

हम ऐसी मिट्टी से है जहाँ 
गौतम बुध को ज्ञान मिला
90 की दसको में है 
हर बच्चा अज्ञान मिला

जहाँ आज भी पगड़ी माथो 
पर मनो ऐसे लहराती है 
जैसे गंगा की ये मधुर धरा 
शीतल गीत सुनती है। 

आओ कभी तो देखना 
क्या खुशबू यहाँ की मिट्टी में है 
मनो बर्गर पिज़्ज़ा सुब कूल है
लेकिन असली मज़ा चोखे और लिट्टी में है

जिस आम को आप फल समझते है
हमारा तातपर्य उसके आचार से है
कोई पूछे तेरा पहचान तो 
कह देना हम बिहार से है। 

मित्र तो फिर भी मित्र है हम 
दुश्मन को भी गले लगते है
गाइज व्हाट ये आपके ढकोसले है
हम तो बऊवा कह के बुलाते है। 

मर्यादा के चका-चौंद 
उदेश अपने विचार से है
है सीना धोक के कहते है
है हम बिहार से है। 

तुम उगते सूरज को मानते हो
हम डूबते को भी मानते है
भाषा की मर्यादा हम सबसे
बेहतर जानते है। 

बदल रही है मीट्टी 
ओ बदलते बिहार से है 
कोई पूछे तेरा पहचान तो 
कह देना हम बिहार से है। 


x..........................................................................................x.......................................................................................................................x

#Tagsकोई पूछे तेरा पहचान तो  कह देना हम बिहार से है Kavita कोई पूछे तेरा पहचान तो  कह देना हम बिहार से है कविता Koi Puche Tera Pehchan To Kah Dena Hum Bihar Se Hai kavita बिहार और छठ पूजा Poem by Vikash Singh The Social Tape

Post a Comment

0 Comments

close